कांग्रेस नेता जयराम नरेश ने कहा
हरियाणा के राज्यपाल ने मुख्यमंत्री के शपथ ग्रहण के एक दिन बाद 13 मार्च 2024 से विधानसभा सत्र बुलाने में राज्य सरकार की विफलता के कारण उत्पन्न संवैधानिक संकट को टालने के लिए आज राज्य की विधानसभा को भंग कर दिया।
जानबूझकर छह महीने तक विधानसभा का सत्र नहीं बुलाया गया, क्योंकि एक बार विधायकों के सदन में आने से यह हमेशा के लिए साबित हो जाता कि भाजपा के पास विधानसभा में बहुमत नहीं है। मुख्यमंत्री यह जानते हुए भी अपने पद पर बने रहे कि उनके पास जनादेश नहीं है। यह एक ऐसी पार्टी द्वारा लोकतंत्र को तार-तार करना है जिसे अब समझ नहीं आता कि सत्ता पर पकड़ के बिना कैसे रहा जाए।
लेकिन 8 अक्टूबर, 2024 के बाद से उनके पास नई वास्तविकता के साथ सामंजस्य बिठाने के अलावा कोई विकल्प नहीं होगा।