केंद्र के खिलाफ विपक्षी गठबंधन और पश्चिम बंगाल की मुख्यमंत्री ममता बनर्जी ने केंद्र सरकार पर जमकर निशाना साधा है। महाराष्ट्र के दौरे पर पहुंची तृणमूल कांग्रेस की प्रमुख ममता बनर्जी ने कहा कि केंद्र में एनडीए सरकार अस्थिर हैं और शायद अपना ये कार्यकाल पूरा नहीं पाएगी।
वहीं इससे पहले उन्होंने शिवसेना (उद्धव बालासाहेब ठाकरे) के अध्यक्ष उद्धव ठाकरे से बांद्रा में मौजूद उनके आवास मातोश्री पर मुलाकात की। बता दें कि लोकसभा चुनाव के बाद दोनों नेताओं के बीच यह पहली मुलाकात थी।
शरद पवार से भी मिलीं ममता बनर्जी
पश्चिम बंगाल की सीएम ममता बनर्जी ने अपने महाराष्ट्र दौरे के दौरान राष्ट्रवादी कांग्रेस पार्टी (शरदचंद्र पवार) के अध्यक्ष शरद पवार से भी मुलाकात की है। तृणमूल कांग्रेस की प्रमुख ममता बनर्जी ने शरद पवार से दक्षिण मुंबई में उनके आवास ‘सिल्वर ओक’ में मुलाकात की। तृणमूल कांग्रेस, एनसीपी (सपा) और शिवसेना (यूबीटी) विपक्षी दल इंडिया ब्लॉक के घटक दल हैं।
भाजपा शासन में आपातकाल जैसी स्थिति- ममता
वहीं उद्धव ठाकरे के साथ एक प्रेस कॉन्फ्रेंस में उन्होंने कहा, यह सरकार शायद आगे भी न चले। क्योंकि यह स्थिर सरकार नहीं है। इस बारे में विस्तार से पूछने पर उन्होंने कहा, कि खेला शुरू हो गया है, यह चलता रहेगा। 25 जून को ‘संविधान हत्या दिवस’ के रूप में मनाने के केंद्र सरकार के कदम पर ममता बनर्जी ने कहा कि आपातकाल से जैसा समय तो प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के कार्यकाल में सबसे अधिक देखा जा रहा है। उन्होंने ने कहा कि जब तीन कानून – भारतीय न्याय संहिता (बीएनएस), भारतीय नागरिक सुरक्षा संहिता (बीएनएसएस) और भारतीय साक्ष्य अधिनियम (बीएसए) को संसद में पेश किया गया था, तब किसी से भी सलाह नहीं ली गई थी। उन्होंने कहा कि इसे तब पारित किया गया जब बड़ी संख्या में सांसदों को निलंबित कर दिया गया था। उन्होंने कहा कि कई लोग इन नए कानूनों से डरते हैं।
हम आपातकाल का समर्थन नहीं करते- ममता
इस दौरान ममता बनर्जी ने कहा, कि हम आपातकाल का समर्थन नहीं करते…(लेकिन) परोपकार की शुरुआत घर से होती है। वहीं मुंबई उत्तर पश्चिम लोकसभा सीट से शिवसेना उम्मीदवार की 48 वोटों से हार का जिक्र करते हुए उन्होंने कहा कि कई अन्य लोकसभा सीटों पर भी इसी तरह की जीत हासिल की गई है। अपने राज्य में विपक्षी गठबंधन पर उन्होंने कहा कि टीएमसी भारतीय कम्युनिस्ट पार्टी (मार्क्सवादी) के साथ तालमेल नहीं बिठा सकती क्योंकि उनकी पार्टी ने वाम मोर्चे से लड़ाई लड़ी और सत्ता में आई।
विधानसभा चुनाव में उद्धव गुट के लिए प्रचार करेंगी ममता
ममता बनर्जी ने आगे कहा कि उद्धव ठाकरे गुट से नाम और चुनाव चिह्न छीनना बिल्कुल अनैतिक है, लेकिन यह गुट बाघ की तरह लड़ा। बता दें कि जून 2022 में शिवसेना का विभाजन हुआ और पार्टी का नाम और ‘धनुष और तीर’ चुनाव चिह्न मुख्यमंत्री एकनाथ शिंदे के नेतृत्व वाले गुट को दे दिया गया था। पश्चिम बंगाल की सीएम ने अपने संबोधन में कहा कि वो अक्टूबर-नवंबर में होने वाले महाराष्ट्र विधानसभा चुनावों में ठाकरे की शिवसेना (यूबीटी) के लिए प्रचार करेंगी। शिवसेना (यूबीटी) और ममता बनर्जी के नेतृत्व वाली तृणमूल कांग्रेस दोनों ही विपक्ष के इंडिया गठबंधन का हिस्सा हैं।