Amarnath Yatra 2023: इस साल की बाबा अमरनाथ बर्फानी की यात्रा को शुरू होने में सिर्फ 5 दिन बचे है। यह मंदिर केंद्र शासित प्रदेश जम्मू और कश्मीर में स्थित है। ऐसे में सुरक्षाबलों ने यात्रा से पहले जम्मू-कश्मीर में सुरक्षा कड़ी कर दी है। बताया जा रहा है कि ड्रोन कैमरे की मदद से सुरक्षा बलों ने निगरानी शुरू कर दी है। जिसके जरिए चप्पे-चप्पे पर पैनी नजर रहेगी। ड्रोन हर संदिग्ध पर अपनी निगाह बनाए रहेगा। 62 दिनों तक चलने वाली यात्रा एक जुलाई से शुरू हो रही है। जिसको लेकर तमाम तैयारियां सरकार की जोरों पर हैं। यात्रा पहलगाम के नुनवान और मध्य कश्मीर के गांदरबल जिले के बालटाल के दो पारंपरिक मार्गों से शुरू होगी, जो 31 अगस्त तक जारी रहेगी।
यात्रा करने की योजना बना रहे श्रद्धालुओं को ऑनलाइन और ऑफलाइन रजिस्ट्रेशन करना होगा।
स्टेप 1: अमरनाथ यात्रा पर जाने के लिए ऑनलाइन रजिस्ट्रेशन के लिए वेबसाइट jksasb.nic.in पर जाएं
स्टेप 2: निर्देशों को ध्यान से पढ़ने के बाद सहमती बॉक्स को चेक करते हुए आगे बढ़े स्टेप 3: अपना मार्ग बालटाल या पहलगाम चुनें। अमरनाथ यात्रा में आने वाले तीर्थ-यात्रियों की होगी 3-layer सुरक्षा, हाई-टेक तरीके से की जाएगी निगरानी
अमरनाथ यात्रा के दो रास्ते
पहला- पहलगाम मार्ग से होते हुए यात्रा। यह 46 से 48 किलोमीटर लंबा है। जिसे पूरा होने में करीब 5 दिन का वक्त लगता है।
दूसरा- बालटाल मार्ग से होते हुए यात्रा। यह 14 से 16 किलोमीटर लंबा है। इसमें खड़ी चढ़ाई ज्यादा है। काफी कठिन रास्ता है।
1 जुलाई से अमरनाथ तीर्थयात्रा की शुरूआत हो रही है। 1 से 31 जुलाई तक चलने वाली इस तीर्थयात्रा की तैयारियां शुरू हो चुकी है। बाबा बर्फानी के दर्शन करने जाने वाले तीर्थयात्रियों को कोई असुविधा ना हो इसके लिए केंद्र सरकार अमरनाथ यात्रा शुरू होने से पहले सारी पुख्ता इंतजाम करने में जुटी हुई है। वहीं जम्मू और कश्मीर पुलिस, सीआरपीएफ और सेना साथ मिलकर जमीनी और वायु दोनों स्तरों पर यात्रा पर हाई-टेक निगरानी रखेंगी। इसके साथ ही अमरनाथ आने वाले यात्रियों की थर्ड लेवल सिक्योरिटी की जाएगी।
तीर्थयात्रियों को आतंकी खतरों को दूर रखने, सुरक्षित और सुचारू अमरनाथ यात्रा करवाने के लिए ये सारी कवायद सरकार द्वारा की जा रही है। बता दें साल भर एक बार होने वाली अमरनाथ तीर्थ यात्रा के दौरान सुरक्षा, प्रशासनिक व्यवस्था की समीक्षा करने के लिए देश के गृहमंत्री अमित शाह ने शुक्रवार को यहां एक उच्च स्तरीय बैठक की थी। जिसमें उन्होंने बताया था कि प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी सरकार की ये प्राथमिकता है कि पवित्र तीर्थ यात्रा बिना किसी विघ्न के तीर्थ यात्रियों को आरामदायक गुफा में अवतरित बाबा बर्फानी के दर्शन की सुविधा मुहैय्या करवाई जाए।
गृह मंत्री शाह ने निर्देश दिया कि तीर्थ यात्रा के पूरे मार्ग पर, हवाई अड्डे, रेलवे स्टेशन या बस स्टेशन पर आगमन की जगहों से लेकर गुफा में, यात्रियों के आधार शिविरों और बालटाल और पहलगाम मार्गों तक पर्याप्त सुरक्षा व्यवस्था की जाए। वहीं जम्मू उपायुक्त अवनी लवासा ने बताया कि जम्मू अमरनाथ यात्रा का पहला बेस शिविर होगा। यहां पर यात्री निवास में सभी मरम्मत और अन्य व्यवस्थाएं की गई हैं। सामुदायिक केंद्र तीर्थयात्रियों के लिए आरक्षित किए गए हैं। उपायुक्त अवनी ने बताया कि अगर खराब मौसम की स्थिति के कारण अमरनाथ यात्रा रुक जाती है, तो उस स्थिति में सभी आवश्यक प्रबंध किए गए हैं। अवनी लवासा ने बताया अमरनाथ यात्रा पर आने वाले भक्तों की सुरक्षा के व्यापक इंतजाम किए गए हैं।