झारखंड में जारी संवैधानिक संकट फिलहाल टलता नजर आ रहा है. राज्यपाल सीपी राधाकृष्णन ने चंपई सोरेन को सरकार बनाने का न्योता दिया है. चंपई आज यानी शुक्रवार को दोपहर 12 बजे मुख्यमंत्री पद की शपथ ग्रहण कर सकते हैं, लेकिन उनको 10 दिन के भीतर बहुमत साबित करना होगा. वहीं, सुप्रीम कोर्ट में आज हेमंत सोरेन की याचिका पर सुनवाई है. हेमंत ने सुप्रीम कोर्ट में प्रवर्तन निदेशालय की गिरफ्तारी को चैलेंज किया है. हेमंत सोरेन फिलहाल होटवार जेल में हैं. ईडी की रिमांड मामले में भी रांची की विशेष अदालत में आज फैसला होना है.
झारखंड का सियासी पारा बढ़ा
इससे पहले झारखंड के पूर्व सीएम हेमंत सोरेन के इस्तीफे के बाद नई सरकार का गठन न होने से राज्य में सियासत का पारा सातवें आसमान पर रहा. इस बीच महागठबंधन के विधायक दल का नेता चुने जाने के बाद चंपई सोरेन कल दूसरी बार राज्यपाल से मिले, लेकिन राजभवन ने उनको नई सरकार बनाने का न्योता नहीं दिया. इसके बाद झारखंड मुक्ति मोर्चा को होर्स ट्रेडिंग डर सताने लगा और जेएमएम और कांग्रेस समेत सभी घटक दलों को फ्लाइट से हैदराबाद ले जाया जाने लगा, लेकिन खराब मौसम और कोहरे की वजह से फ्लाइट टेक ऑफ नहीं कर पाई और सभी नेताओं को वापस लौटना पड़ा.
चंपई सोरेन ने अपने पास 47 विधायकों का समर्थन होने का दावा किया
उधर, झारखंड टाइगर नाम से मशहूर चंपई सोरेन ने अपने पास 47 विधायकों का समर्थन होने का दावा किया है. विधायकों का यह आंकड़ा बहुमत की गिनती से केवल 6 ज्यादा है. यही वजह है कि राज्य में विधायकों की खरीद फरोख्त का खतरा बढ़ गया है. बहुत साबित न होने तक चंपई सोरेन के सामने संकट की स्थिति रहेगी. इस बीच शिबू सोरेन और उनकी बहू सीता सोरेन चंपई सोरेन समर्थित विधायकों में शामिल नहीं दिख रहे हैं. हालांकि इसका कारण अभी तक सामने नहीं आया है. राज्य में सियासी संकट के मद्देजनर भारतीय जनता पार्टी ने भी आज विधायक दल की आपात बैठक बुलाई है. अटकलें लगाई जा रही हैं कि बीजेपी झारंखड सियासी उठापटक को लेकर अपनी रणनीति तय करेगी.