income tax waived : मोदी सरकार ने एक करोड़ लोगों का आयकर माफ कर दिया है। अब 25 हजार रुपए तक कोई भी बकाया प्रत्यक्ष कर जमा नहीं करना होगा। वित्तमंत्री निर्मला सीतारमण ने बजट में इसका एलान कर दिया है। इसके साथ ही यह भी कहा है कि अब ऐसे सभी बकाया डिमांड को वापस लिया जाएगा। इससे करीब देश के एक करोड़ करदाताओं को फायदा होगा। वित्तमंत्री के इस कदम का काफी लोगों ने स्वागत किया है।
वित्तमंत्री निर्मला सीतारमण ने बजट पेश करते हुए कहा कि 1962 से कई टैक्स डिमांड लगातार बनी हुई हैं। इसके कारण ईमानदार कारदाताओं को चिंता रहती है। अब 25 हजार रुपए के सभी प्रत्यक्ष कर को वापस लिया जाता है। 2009-10 तक के लिए 25 हजार रुपए तक और 2014-15 तक के लिए 10 हजार रुपए है।
आयकर देता है छह तरह का नोटिस
देश के आयकरदाता को आयकर अधिनियम 1961 की छह अलग-अलग धाराओं में नोटिस दिया जा सकता है। आमतौर पर एक वेतनभोगी व्यक्ति को छह प्रकार के टैक्स नोटिस मिलते हैं। ये नोटिस आयकर अधिनियम 1961 की धारा- 143(1), 139(9), 142, 143(2), 148 और 245 के तहत मिल सकते हैं।
ऐसे मिलता है नोटिस
आयकर विभाग सेक्शन 143(1) के तहत भी नोटिस भेजता है। यह आयकर रिटर्न प्रोसेस होने के बाद मांग की जाती है। वहीं धारा 139(9) का टैक्स नोटिस तब भेजा जाता है जब कोई व्यक्ति दोषपूर्ण आयकर रिटर्न दाखिल करता है। धारा 245 के तहत पिछले बकाया बकाए को चालू वर्ष के आयकर रिफंड के साथ समायोजित करने के लिए नोटिस दिया जाता है।