हिंद महासागर के इलाके में चीन के जासूसी जहाजों की गतिविधियां कुछ सालों में लगातार बढ़ी है। इन जहाजों में जासूसी करने और डाटा इकठ्ठा करने वाले आधुनिक उपकरण लगे होते हैं। श्रीलंकाई पोर्ट पर चाइनीज जहाज के लैंड करने को लेकर भारत और अमेरिका कई बार चिंता भी जता चुके हैं।
इस बीच खबर आ रही है कि चीन का जासूसी जहाज जियांग यांग होंग 03 हिंद महासागर में घुस चुका है। ऐसी खबर है कि श्रीलंका द्वारा विदेशी जहाजों के अपने देश में घुसने पर प्रतिबंध लगाने के बाद अब ये मालदीव की तरफ बढ़ रहा है। ऐसा दावा ओपन सोर्स इंटेलिजेंस (OSINT) के ऑब्जर्वर्स और समुद्री ट्रैकिंग पोर्टल ये दावा कर रहे हैं।
मालदीव की प्रतिक्रिया
चीनी जासूसी जहाज के मालदीव जाने को लेकर अब मालदीव की प्रतिक्रिया आई है। मालदीव ने मंगलवार को चीनी अनुसंधान पोत या ‘जासूसी’ जहाज जियांग यांग होंग 3 की रिपोर्टों पर एक बयान जारी किया और इस बात की पुष्टि की कि माले में चीनी जासूसी जहाज ठहरेगा। मालदीव ने कहा कि चीन ने कर्मियों के रोटेशन को लेकर मालदीव सरकार से राजनयिक अनुरोध किया है। मालदीव ने यह भी कहा कि द्वीप राष्ट्र “हमेशा मित्र देशों के जहाजों के लिए एक स्वागत योग्य गंतव्य रहा है”।
चीन ने किया था अनुरोध
बयान में कहा गया है, “विदेश मंत्रालय यह सूचित करना चाहता है कि पोर्ट कॉल करने के लिए आवश्यक मंजूरी के लिए चीन सरकार द्वारा मालदीव सरकार से एक राजनयिक अनुरोध किया गया था।” चीनी व्यापारिक जहाज के 8 फरवरी को माले पहुंचने की उम्मीद है। इसे 22 जनवरी को इंडोनेशिया में जकार्ता के तट पर जावा सागर में देखा गया था। मालदीव की ओर जाने वाले चीनी जहाज की रिपोर्ट सोमवार को तब सामने आई जब ओपन सोर्स इंटेलिजेंस शोधकर्ता डेमियन साइमन ने एक्स पर एक पोस्ट में कहा कि “चीनी खोजी जहाज, जियांग यांग होंग 03, हिंद महासागर के इलाके में घुस रहा है। ये अपनी मंजिल माले दिखा रहा है। संभावना जताई जा रही है कि ये पोत, हिंद महासागर के इलाके में एक समुद्री सर्वे करेगा। ये भारत के लिए चिंताजनक है।”
श्रीलंका ने लगाया प्रतिबंध
आपको बता दें कि ये जहाज मालदीव इसलिए जा रहा है क्योंकि श्रीलंका ने इसे अपने किसी भी बंदरगाह पर रुकने की इजाजत नहीं दी थी। ये जहाज 4-5 जनवरी को श्रीलंकाई बंदरगाह पर रुकने वाला था लेकिन इससे पहले श्रीलंकाई सरकार ने चीनी जहाजों के देश में रुकने पर प्रतिबंध लगा दिया था। नए साल की पहली तारीख को पड़ोसी देश श्रीलंका ने चीन को बड़ा झटका देते हुए भारत के हित में एक अहम फैसला लिया था। श्रीलंका ने अपने समुद्री क्षेत्र में विदेशी जासूसी जहाजों के संचालन पर 12 महीने की रोक लगा दी थी।