Haryana News: हरियाणा के अंबाला जिले में एक बस चालक की हत्या को लेकर रोडवेज के कर्मचारियों की हड़ताल की वजह से बुधवार को बसें सड़कों से गायब रहीं. हड़ताल के कारण भाई दूज के त्योहार पर लोगों को सफर करने में खासी परेशानी का सामना करना पड़ा. हरियाणा के परिवहन मंत्री मूलचंद शर्मा के साथ बुधवार रात को चंडीगढ़ में बैठक के बाद कर्मचारियों ने अपनी हड़ताल खत्म कर दी. बैठक के बाद मंत्री ने कहा कि बुधवार रात से ही सामान्य सेवाएं फिर शुरू हो जाएंगी.
मंगलवार आधी रात को खत्म हुई हड़ताल
कर्मचारियों ने हमलावरों की गिरफ्तारी और पीड़ित परिवार को मुआवजा देने की मांग को लेकर मंगलवार आधी रात से हड़ताल शुरू कर दी. पुलिस ने कहा था कि 12 नवंबर की रात्रि को अंबाला में अज्ञात लोगों द्वारा हमला किए जाने के बाद हरियाणा रोडवेज के बस चालक राजवीर (51) की मौत हो गई. पुलिस ने बताया कि हमले के बाद सोनीपत निवासी राजवीर को गंभीर हालत में अंबाला छावनी के सिविल अस्पताल लाया गया और बाद में पीजीआईएमईआर, चंडीगढ़ रेफर कर दिया गया. लेकिन इलाज के दौरान उन्होंने दम तोड़ दिया. शव को बृहस्पतिवार सुबह अंतिम संस्कार के लिए उनके पैतृक गांव ले जाया जाएगा.
मृतक के परिवार को मिलेगी आर्थिक सहायता और बेटे को नौकरी
हरियाणा रोडवेज कर्मचारी सांझा यूनियन के प्रतिनिधियों के साथ बैठक के बाद परिवहन मंत्री शर्मा ने कहा कि राज्य सरकार दुख की घड़ी में मृतक के परिवार के साथ खड़ी है. शर्मा के हवाले से एक आधिकारिक विज्ञप्ति में कहा गया कि चालक के बेटे को उसकी योग्यता के आधार पर सरकारी नौकरी दी जाएगी.
उन्होंने यह भी कहा कि चालक के परिवार को आर्थिक सहायता भी दी जाएगी. मंत्री ने कहा कि मामले में आरोपियों को गिरफ्तार कर लिया गया है.
रोडवेज के कर्मचारियों ने दिया था धरना
इससे पहले दिन में रोडवेज के कर्मचारियों ने यमुनानगर, चरखी दादरी, करनाल, सोनीपत, सिरसा, हिसार और नारनौल सहित कई बस अड्डों पर धरना दिया और नारे लगाए. प्रदर्शन कर रहे कर्मचारी हमलावरों की गिरफ्तारी, राजवीर के परिवार को 50 लाख रुपये मुआवजा और परिवार के एक सदस्य को सरकारी नौकरी देने की मांग कर रहे थे. हरियाणा रोडवेज यूनियन के वरिष्ठ उपाध्यक्ष रमन सैनी ने कहा था कि राज्य में सभी रोडवेज बसें सड़कों से नदारद रहीं.
हड़ताल से यात्रियों की बढ़ी थी मुश्किलें
भाई दूज के त्योहार पर हड़ताल के कारण यात्रियों की मुश्किलें और बढ़ गईं. भाई दूज के लिए अपनी बहन के घर सहारनपुर जा रहे प्रवासी मजदूर राम स्वरूप ने बताया कि वह अंबाला छावनी रोडवेज बस स्टैंड के पास बस का इंतजार कर रहे थे, लेकिन कोई बस नहीं मिली. बाद में उन्हें एक टैक्सी किराये पर लेनी पड़ी जिसके लिए बहुत ज्यादा किराया चुकाना पड़ा.
करनाल बस स्टैंड पर एक यात्री ने कहा कि उन्हें यमुनानगर जाने के लिए कोई रोडवेज बस नहीं मिल पाई, जबकि एक बुजुर्ग यात्री ने बताया कि हड़ताल के कारण जनता को असुविधा का सामना करना पड़ रहा है.