दिल्ली के मुख्यमंत्री अरविंद केजरीवाल के सरकारी आवास से जुड़े खर्च की जांच केन्द्र सरकार की सिफारिश पर कैग से करवाए जाने पर ‘आप’ ने केन्द्र की बीजेपी सरकार पर जमकर हमला किया है.
आम आदमी पार्टी ने एक स्टेटमेंट जारी करते हुए कहा कि बीजेपी को पता है कि 2024 के आम चुनाव में उसका सफाया होने जा रहा है.
आप के बयान में कहा गया कि इसी हताशा में राजनीतिक विरोधियों की आवाज दबाने के लिए केंद्र की मोदी सरकार जांच एजेंसियों के खुलेआम दुरुपयोग करने पर उतारू है. जहां तक मुख्यमंत्री आवास के पुनर्निर्माण में खर्च की कैग जांच का सवाल है तो यह पिछले साल भी हो चुकी है और इसमें एक पैसे की गड़बड़ी नहीं मिली थी.
बीजेपी की सत्ता हथियाने की साजिश- आप
AAP ने आगे कहा कि अब दोबारा से उसी कैग जांच का आदेश देना बीजेपी की हताशा, सनक और तानाशाही को उजागर कर रहा है. किसी मामले की कैग से जांच कराना एक निर्वाचित सरकार के अधिकार क्षेत्र में आता है. इस तरह केंद्र दिल्ली सरकार के अधिकारों का अतिक्रमण कर संविधान का भी उल्लंघन कर रही है. दिल्ली में लगातार एक के बाद एक चुनावी हार से बौखलाई बीजेपी न सिर्फ मुख्यमंत्री अरविंद केजरीवाल की ईमानदार सरकार को बदनाम करने, बल्कि पर्दे के पीछे से यहां की सत्ता हथियाने की भी साजिश रच रही है.
सीएम आवास के पुनर्निर्माण में गड़बड़ी के मनगढ़ंत आरोप
इसके तहत फर्जी आबकारी घोटाला और सीएम आवास के पुनर्निर्माण में गड़बड़ी के मनगढ़ंत आरोप लगा रही है. यह सारा प्रपंच पीएम मोदी के संरक्षण में अडानी के किए अरबों के घोटाले से जनता का ध्यान भटकाने के लिए किया जा रहा है. इसके तहत विपक्ष के नेताओं को एक-एक कर निशाना बनाया जा रहा है.
बीजेपी अपने अंत की पटकथा लिख रही…
आम आदमी पार्टी ने आगे कहा कि अगर प्रधानमंत्री में हिम्मत है तो वह अडानी के घोटाले की जांच संयुक्त संसदीय समिति से कराएं. साथ ही मध्य प्रदेश के व्यापम घोटाला, अयोध्या राममंदिर में चंदा घोटाला, असम के मुख्यमंत्री के घोटाले की भी कैग या अन्य केंद्रीय एजेंसियों से जांच कराई जानी चाहिए. दरअसल बदले की भाव ना के तहत इस तरह की ऊलजलूल हरकतों से बीजेपी अपने अंत की ही पटकथा लिख रही है.