पेरिस ओलिंपिक में अब ज्यादा समय नहीं बचा है और इसके लिए भारतीय एथलीट्स तैयारियों में जुट गए हैं। इसी बीच अनुशासनहीनता का एक बड़ा मामला सामने आया है। कॉमनवेल्थ गेम्स (CWG) के गोल्ड मेडलिस्ट वेटलिफ्टर अचिंता शिउली रात को महिला हॉस्टल में घुसते हुए पकड़े गए हैं। जिसके बाद उन्हें कैम्प से बाहर कर दिया गया है और उनका ओलंपिक खेलने का सपना भी टूटा सकता है।
पेरिस ओलंपिक की तैयारी के लिए एनआईएस पटियाला में एक कैंप लगाया गया था। गुरुवार की रात शिउली ने चुपचाप महिला हॉस्टल में घुसने की कोशिश की। लेकिन तभी सुरक्षाकर्मियों ने उन्हें पकड़ लिया और उनका वीडियो बना लिया। जिसके बाद शिउली की इस हरकत पर एक्शन लेते हुए फेडरेशन ने उन्हें कैंप से बाहर कर दिया गया है। भारतीय भारोत्तोलन महासंघ के एक अधिकारी ने पीटीआई से कहा, ‘इस तरह की अनुशासनहीनता बर्दाश्त नहीं की जाएगी। अचिंता को तुरंत शिविर से जाने के लिए कहा गया।’
सुरक्षाकर्मियों द्वारा बनाया गया वीडियो एनआईएस पटियाला के कार्यकारी निदेशक विनीत कुमार और दिल्ली में स्पोर्ट्स अथॉरिटी ऑफ़ इंडिया (SAI) मुख्यालय को भेज दिया गया है। फेडरेशन के इस एक्शन के बाद अचिंता इस महीने थाईलैंड के फुकेट में आईडब्ल्यूएफ वर्ल्ड कप नहीं खेल सकेंगे, जो पेरिस ओलंपिक क्वालिफिकेशन के लिए अनिवार्य था।
बता दें अचिंत ने बर्मिंघम कॉमनवेल्थ गेम्स 2022 में पुरुष वेटलिफ्टिंग के 73 किलो भारवर्ग में नए रिकॉर्ड के साथ गोल्ड मेडल जीता था। शेउली ने स्नैच में रिकॉर्ड 143 किलो का वजन उठाया था, वहीं क्लीन एंड जर्क में वह 170 किलो भार उठाने में सफल रहे थे। कुल मिलाकर उन्होंने गेम्स रिकॉर्ड बनाते हुए कुल 313 किलो वजन उठाया था।
पटियाला में लड़के और लड़कियों के लिए अलग हॉस्टल है। इस समय महिला मुक्केबाज, एथलीट और पहलवान एनआईएस पटियाला में है। यह पहला मामला नहीं है। भारोत्तोलन महासंघ ने इससे पहले राष्ट्रमंडल और युवा ओलंपिक चैम्पियन जेरेमी लालरिनुंगा को भी अनुशासनहीनता के कारण राष्ट्रीय शिविर से हटाया था।