हर शख्स चाहता है कि वो जिस शहर में रह रहा है, वो सुरक्षित हो, वहां अपराध कम हो, बदमाशों में प्रशासन का खौफ हो। लेकिन ऐसा होता नहीं है। ऐसे में सवाल उठता है कि देश का सबसे सुरक्षित शहर आखिर है कौन? तो इस प्रश्न का उत्तर है-कोलकाता। लगातार तीसरे साल यह शहर देश का सबसे सुरक्षित शहर घोषित हुआ है। प्रति लाख की आबादी के अनुसार इस शहर में अपराधों की संख्या सबसे कम दर्ज की गई है। राष्ट्रीय अपराध रिकॉर्ड ब्यूरो (एनसीआरबी) के आंकड़ों में यह जानकारी दी गई है। आंकड़े आने के बाद टीएमसी ने खुशी व्यक्त की, कहा कि इस डेटा ने बंगाल सरकार की कानून व्यवस्था को संभालने पर भाजपा द्वारा प्रचारित झूठ को उजागर किया है।
एनसीआरबी के वर्ष 2022 के डेटा के मुताबिक कोलकाता में प्रति एक लाख की आबादी पर 86.5 केस सामने आए हैं। इसके बाद सबसे सुरक्षित शहर पुणे है, जहां 280 मामले आए हैं और तीसरे स्थान पर हैदराबाद है। यहां प्रति एक लाख आबादी पर 299 केस मिले हैं।
हर वर्ष जारी होती है रैंकिंग
बता दें कि एनसीआरबी यह रैंकिंग हर साल जारी करती है। इसमें 20 लाख से अधिक जनसंख्या वाली 19 शहरों की तुलना की जाती है। इसी रैंकिंग में कोलकाता लगातार तीन सालों से शीर्ष पर बना हुआ है। वहीं वर्ष 2022 में देश में राजनीतिक कारणों से हत्या की सबसे अधिक वारदात झारखंड में हुई है। रिपोर्ट के मुताबिक पूरे देश में राजनीतिक कारणों से 59 हत्याएं हुईं। सबसे अधिक 17 हत्याएं झारखंड में हुई हैं।
इस रिपोर्ट के मुताबिक राजनीतिक वजहों से हत्या की सबसे कम घटनाएं उत्तर प्रदेश, तेलंगाना और त्रिपुरा में रिकॉर्ड की गई हैं। इन तीनों प्रदेशों में राजनीतिक कारणों से मात्र एक-एक हत्या का मामला दर्ज किया गया। झारखंड के बाद बिहार और ओडिशा दोनों प्रदेशों में इस श्रेणी में आठ-आठ हत्याएं हुई हैं। केरल में सात, आंध्रप्रदेश और तमिलनाडु में चार-चार और कर्नाटक में इस तरह की दो हत्याएं हुईं।