अमेरिकी राष्ट्रपति पद की दौड़ में एक और भारतीय-अमेरिकी शामिल शामिल हो गए हैं।
2024 के अमेरिकी राष्ट्रपति चुनाव के लिए निक्की हेली, विवेक रामास्वामी, हर्ष वर्धन सिंह के बाद अब शिवा अय्यादुरई स्वतंत्र उम्मीदवार के रूप में अपनी दावेदारी की घोषणा करने वाले चौथे भारतीय-अमेरिकी बन गए हैं।
‘ईमेल के आविष्कारक’ कहे जाने वाले शिव अय्यादुरई ने स्वतंत्र उम्मीदवार के रूप में चुनाव में शामिल होने की घोषणा की है। मुंबई में जन्मे 59 वर्षीय शिव अय्यादुरई ने कहा कि वह लेफ्ट और राइट से ऊपर उठकर अमेरिका के लोगों की सेवा करना चाहते हैं।
अय्यादुरई ने कहा, “देश और स्थानीय सरकार में भ्रष्टाचार और क्रोनी कैप्टलिज्म की रक्षा करने वाले पुराने राजनीतिज्ञ, वकील-लॉबिस्टों और शिक्षाविद अमेरिका को महान बनने से रोकते हैं”।
अय्यादुरई ने कहा कि वह ऐसा देश बनाना चाहते हैं जहां लोगों को वह मिल सके जो वे चाहते हैं और जिसके लिए योग्य हैं। उन्होंने कहा कि हम अभी दोराहे पर खड़े हैं। हम या तो स्वर्णकाल की ओर बढ़ सकते हैं या अंधेरे की ओर। अय्यादुरई 1970 में भारत छोड़कर अपने परिजनों के साथ अमेरिका आ गए थे और अमेरिकी सपने को जीने के लिए यहां वह न्यूजर्सी में बस गए। उन्होंने कहा, “मैंने 1970 में भारत की जाति व्यवस्था छोड़ दी, जहां हमें निचली जाति ‘अछूत’ और ‘निंदनीय’ माना जाता था।”
अय्यादुरई के पास MIT की कुल 4 डिग्री है और उन्होंने अब तक कुल 7 हाईटेक सॉफ्टवेयर कंपनियों को खड़ा किया है।
वह वर्तमान में CytoSolve, Inc के संस्थापक और सीईओ हैं, जो अग्नाशय के कैंसर से लेकर अल्जाइमर तक प्रमुख बीमारियों का इलाज खोज रहा है। आपको बता दें कि आधिकारिक रूप से ईमेल का आविष्कार रे टॉमलिंसन नाम के एक कम्प्यूटर इंजीनियर को माना जाता है। रे टॉमलिंसन को इंटरनेट के शुरुआती संस्करण पर काम करने वाला माना जाता है। ऐसा माना जाता है कि वे 1971 से ही इसपर काम कर रहे थे लेकिन शिवा अय्यदुरई इस दावे को झुठलाते हैं। वह कहते हैं कि वे ऐसे पहले शख्स थे जिन्होंने 1970 के दशक के अंत में महज 14 साल की उम्र में ईमेल का आविष्कार किया था। अय्यादुरई कहते हैं कि वे ही ईमेल के असली आविष्कारक हैं, और उन्हें इसका समर्थन करने के लिए डॉट-कॉम डोमेन मिला है। कई पत्रिकाओं ने भी शिवा अय्यदुरई के दावे का समर्थन किया है।