पंजाब के मुख्यमंत्री भगवंत मान के दिशा-निर्देशों पर आयोजित इस बैठक में मंत्री जिम्पा ने कहा इस गर्मी में पंजाब के किसी भी गांव में पानी की कमी न हो। उन्होंने अधिकारियों को सीमित पेयजल आपूर्ति वाले क्षेत्रों में तुरंत वैकल्पिक व्यवस्था करने के निर्देश दिए।
इसके अलावा, उन्होंने 15 सतही/नहर जल योजनाओं पर निर्धारित समय सीमा के भीतर काम पूरा करने का निर्देश दिया। इस बैठक में मौजूद अधिकारियों ने जानकारी दी कि वर्तमान में पंजाब के विभिन्न क्षेत्रों में 15 सतही जल योजनाएं चालू हैं, जिनकी कुल लागत 2940 करोड़ रुपये है। इनमें से अधिकांश योजनाएं इस वर्ष के अंत तक पूरी होने की उम्मीद है, जबकि कुछ अगले वर्ष तक भी पूरी हो सकती हैं। अधिकारियेां ने बैठक में ये भी बताया कि इन योजनाओं के पूरा होने से 1,706 गांवों के 4,33,055 घरों में रहने वाले कुल 24,73,261 लोगों को लाभ होगा। ये योजनाएँ पंजाब के विभिन्न जिलों में स्थित हैं जिनमें पटियाला, फतेहगढ़ साहिब, गुरदासपुर, अमृतसर, तरन तारन, रूपनगर, फाजिल्का, फिरोजपुर और होशियारपुर शामिल हैं।
मंत्री जिम्पा ने अधिकारियों को निर्देश दिया कि वे सुनिश्चित करें कि ये योजनाएं समय पर पूरी हों और जनता को समर्पित हों, ताकि हर ग्रामीण को स्वच्छ जल आपूर्ति सुनिश्चित हो सके। बैठक के दौरान, वरिष्ठ विभाग के अधिकारियों ने बताया कि जलापूर्ति संबंधी शिकायतों का काफी हद तक समाधान किया गया है।
विभाग द्वारा उपलब्ध कराए गए टोल-फ्री नंबर पर मई में प्राप्त 1,463 शिकायतों में से 1,433 का समाधान किया गया है। उन्होंने होशियारपुरमें बजवाड़ा सीवरेज परियोजना के बारे में भी जानकारी ली, जिसे अगस्त 2025 तक पूरा किया जाना है।
मंत्री जिम्पा ने परियोजना को निर्धारित समय के भीतर पूरा करने और सीवेज स्थापना के दौरान शहर के निवासियों को कम से कम व्यवधान के साथ जनता को सौंपने की आवश्यकता पर जोर दिया। इसके अलावा मंत्री जिम्पा ने अधिकारियों को ग्रामीण क्षेत्रों में कचरा प्रबंधन के लिए बड़े पैमाने पर अभियान चलाने का निर्देश दिया। उन्होंने कचरा प्रबंधन में लोगों के सहयोग की महत्ता पर प्रकाश डाला और विभाग से पंजाब के लोगों को स्वच्छता के प्रति प्रेरित करने और उनमें जागरूकता लाने के लिए प्रभावी कदम उठाने का आग्रह किया। बैठक में प्रमुख सचिव नीलकंठ अवाद, विभागाध्यक्ष अमित तलवार, सभी मुख्य अभियंता और अन्य अधिकारी मौजूद थे।