कर्नाटक सरकार ने महर्षि वाल्मिकी जनजातीय विकास कॉरपोरेशन लिमिटेड में हुए अवैध धन हस्तांतरण के मामले की जांच एसआईटी और सीबीआई कर रही है। इस मामले में हर दिन नए पहलू और आरोप सामने आ रहे हैं।
अब मंत्री बी नागेंद्र के इस्तीफा देने की भी बात सामने आ रही है। उपमुख्यमंत्री डीके शिवकुमार ने गुरुवार को बताया कि नागेंद्र ने अपने ऊपर लगाए जा रहे आरोपों के बाद इस्तीफा देने की पेशकश की और संकेत दिया कि वह बाद में सिद्धारमैया मंत्रिमंडल से इस्तीफा दे सकते हैं।
विपक्षी दल बना रहे दबाव
विपक्षी दल लगातार कांग्रेस सरकार पर दबाव बनाने का प्रयास कर रहे हैं। इसी क्रम में भाजपा ने ‘विधान सौधा’ से राजभवन तक विरोध मार्च निकाला और राज्यपाल थावरचंद गहलोत को पत्र देकर अनुसूचित जनजाति कल्याण मंत्री के इस्तीफे की मांग की।
आज दे सकते हैं इस्तीफा
शिवकुमार ने कहा, ‘किसी को इस्तीफा मांगने की कोई जरूरत नहीं है। मैंने, मुख्यमंत्री और गृह मंत्री ने मंत्री नागेंद्र से चर्चा की है। मंत्री ने आश्वासन दिया है कि वह किसी भी मामले में शामिल नहीं हैं। मगर वह पार्टी को शर्मिंदा नहीं करना चाहते हैं, इसलिए उन्होंने पार्टी और सरकार के हित में खुद मंत्री पद से इस्तीफा देने की पेशकश की है। मुझे लगता है कि आज वह इस्तीफा देंगे।’
उन्होंने आगे कहा, ‘कांग्रेस आलाकमान से चर्चा करने के बाद मुख्यमंत्री इस पर फैसला करेंगे।’
मुख्यमंत्री सिद्धारमैया ने आज कहा कि वह करोड़ों रुपये के घोटाले की जांच के लिए गठित विशेष जांच दल (एसआईटी) से बात करने और मंत्रिमंडल के वरिष्ठ सहयोगियों के साथ चर्चा करने के बाद नागेंद्र के इस्तीफा पर फैसला करेंगे।
यह है मामला
बता दें कि कॉरपोरेशन के अकाउंट सुपरिटेंडेंट चंद्रशेखर पी ने 26 मई की शाम को आत्महत्या कर ली थी, जिसके बाद कर्नाटक महर्षि वाल्मीकि अनुसूचित जनजाति विकास निगम लिमिटेड से जुड़ा अवैध धन हस्तांतरण का मामला सामने आया था। इस मामले को लेकर राज्य सरकार ने सख्त रुख अपनाया है।
बैंक अधिकारी ने छोड़ा था सुसाइड नोट
दरअसल कॉरपोरेशन बैंक के खाते से अवैध तरीके से 88.62 करोड़ रुपये की भारी भरकम रकम का हस्तांतरण किया गया था। बैंक के अकाउंट अधिकारी की आत्महत्या के बाद इस मामले का खुलासा हुआ। बैंक अधिकारी ने मरने से पहले एक नोट भी छोड़ा, जिसमें कॉरपोरेशन बैंक के निलंबित एमडी जे जी पद्मनाभ, अकाउंट अधिकारी परशुराम जी दुरुगन्नावार, यूनियन बैंक ऑफ इंडिया की मुख्य मैनेजर शुचिस्मिता रावल का नामों का जिक्र किया गया है। नोट में ये भी लिखा है कि मंत्री ने फंड हस्तांतरित करने का मौखिक आदेश दिया था।
भाजपा ने सरकार को घेरा
भाजपा ने इस मुद्दे पर सरकार को घेर लिया है और मामले की जांच की मांग की है। साथ ही भाजपा ने अनुसूचित जनजाति कल्याण मंत्री बी नागेंद्र के इस्तीफे की भी मांग की है। भाजपा का आरोप है कि मंत्री नागेंद्र का इस घोटाले से सीधा संबंध है। दिवंगत बैंक अधिकारी चंद्रशेखर की पत्नी की शिकायत पर शिवमोगा के विनोबा नगर की पुलिस ने मामला दर्ज किया है, जिसके आधार पर सरकार ने जांच के लिए एसआईटी गठित की है। कॉरपोरेशन बैंक के जीएम ए राजशेखर पर बैंक के फंड का गलत इस्तेमाल करने का भी आरोप लगा है।