प्रदेश का हर नौवां गरीब जूझ रहा है किसी न किसी बीमारी से
1.32 लाख में रक्त की कमी, 56 हजार बीपी से तो 41 हजार मधुमेह से पीड़ित
चंडीगढ़, 11 दिसंबर। अखिल भारतीय कांग्रेस कमेटी की राष्ट्रीय महासचिव, पूर्व केंद्रीय मंत्री एवं हरियाणा कांग्रेस कमेटी की पूर्व प्रदेशाध्यक्ष कुमारी सैलजा ने कहा कि भाजपा-जजपा गठबंधन सरकार की निरोगी हरियाणा योजना भी एक जुमला ही साबित हुई है, प्रदेश के 1.59 करोड़ गरीबों में से मात्र 38 लाख के स्वास्थ्य की जांच हुई जिनमें से 4.06 लाख गरीब किसी न किसी बीमारी से पीड़ित मिले। प्रदेश का हर नौवां गरीब किसी ने किसी बीमार से जूझ रहा है। सरकार लोगों को लुभाने के लिए योजनाओं की घोषणाएं तो कर देती है पर उन योजनाओं को लागू करने में पीछे रह जाती है, अगर लागू कर दी गई है तो धरातल पर उनकी वजूद क्या है उन पर गौर करना भूल जाती है, लापरवाह सरकार की योजनाओं को अधिकारी केवल कागजों में ही दौड़ाते हैं।
मीडिया को जारी बयान में कुमारी सैलजा ने कहा कि सबसे बड़ी बात यह है कि निरोगी हरियाणा योजना की शुरुआत 29 नवंबर 2022 को कुरुक्षेत्र में राष्ट्रपति द्रौपदी मुर्मू ने की थी। एक राष्ट्रपति द्वारा शुरू की गई योजना को प्रदेश सरकार घोषित नहीं कर पाई। सरकार की अधिकतर योजनाएं जुमला ही साबित हुई ऐसे में जनता ने इस गठबंधन सरकार को जुमलेबाज सरकार कहना शुरू कर दिया है। प्रदेश के स्वास्थ्य विभाग ने 1.59 करोड़ गरीबों के स्वास्थ्य की जांच का लक्ष्य रखा था पर इसमें वह बुरी तरह से पिछड़ गया यानी कहा जा सकता है कि घोषणा करके भूल गया। स्वास्थ्य विभाग एक साल में मात्र 23.89 प्रतिशत गरीबों के स्वास्थ्य की जांच ही करवा पाया। स्वास्थ्य विभाग के आंकड़े ही उसकी लापरवाही की दास्तां बयान करते हैं। हिसार में सबसे कम 14.25 प्रतिशत गरीबों के स्वास्थ्य की जांच हुई। सबसे ज्यादा सिरसा में 19.86 प्रतिशत गरीबों के स्वास्थ्य की जांच हुई।
उन्होंने कहा कि आज भी प्रदेश का हर नौवां गरीब किसी न किसी बीमारी से पीड़ित है। स्वास्थ्य विभाग के आंकड़े कहते कि 1.32 लाख में रक्त की कमी, 56 हजार बीपी से तो 41 हजार मधुमेह से पीड़ित है। इसके साथ ही 3059 गरीब टीबी से पीड़ित हैं। इतना ही नहीं 41040 गरीब कार्डियक बीमारी से ग्रस्त है। उन्होंने कहा कि प्रदेश के स्वास्थ्य मंत्री और सीएमओ के बीच जारी तनाव के चलते एक माह तक सभी प्रकार की फाइलें मंत्री की टेबल पर पड़ी रही। इस सरकार में ज्यादा हावी है जो न मंत्री की सुनते है और न ही विधायकों की। तो कैसे कहा जा सकता है कि अधिकारी जनता की सुनते हैं। आए दिन प्रदेश का कोई न कोई विधायक या मंत्री एक ही शिकायत करता है कि अधिकारी नहीं सुनते। उन्होंने कहा कि ऐसी गूंगी बहरी सरकार से जनता परेशान है और अब जनता को चुनाव का ही इंतजार है ताकि वह ऐसी विश्वासघाती सरकार को सत्ता से बाहर कर सके।
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खेल व खिलाड़ियों के प्रति गंभीर नहीं गठबंधन सरकार : कुमारी सैलजा
– घोषणा के बावजूद नए खेल स्टेडियम का निर्माण तक नहीं करवा पाए
– खिलाड़ियों को क्लास-1, 2 की नौकरियों में उचित प्रतिनिधित्व भी नहीं
चंडीगढ़।11 दिसंबर
अखिल भारतीय कांग्रेस कमिटी की महासचिव एवं पूर्व केंद्रीय मंत्री कुमारी सैलजा ने कहा कि भाजपा-जजपा गठबंधन सरकार को न खिलाड़ियों की चिंता है और न ही खेलों के बढावे की ओर कोई ध्यान दे रही है। यही कारण है कि खिलाड़ियों को क्लास-1 व 2 की नौकरियों में उचित आरक्षण नहीं मिल रहा है। पदकवीर खिलाड़ियों के गांवों में खेल स्टेडियम का निर्माण मुख्यमंत्री की घोषणा को सालों बीतने पर भी नहीं हो पाया है। इससे नए खिलाड़ियों के तैयार होने पर संदेह बना हुआ है।
मीडिया को जारी बयान में कुमारी सैलजा ने कहा कि गठबंधन सरकार ने खिलाड़ियों पर सबसे बड़ा हमला उन्हें सरकारी नौकरियों में मिलने वाले आरक्षण को खत्म करके किया। इसके बाद आवाज उठी तो खिलाड़ियों को चतुर्थ श्रेणी की नौकरियों में 10 फीसद आरक्षण का प्रावधान करने की घोषणा कर दी। यानी, प्रदेश सरकार चाहती है कि देश-दुनिया में नाम रोशन करने वाले खिलाड़ी सरकारी दफ्तरों में सम्मानजनक ओहदा पाने की बजाए हाथ में ट्रे उठाकर पानी पिलाने का काम करें। पूर्व केंद्रीय मंत्री ने कहा कि एचपीएससी के माध्यम से डीएसपी व एचसीएस भर्ती में खिलाड़ियों के आरक्षण को खत्म करने का कदम भी गठबंधन सरकार ने ही उठाया है। बहुत अधिक विरोध के कारण अब जेल विभाग, वन एवं वन्य जीव विभाग, ऊर्जा विभाग, गृह विभाग, खेल एवं युवा मामले विभाग, स्कूल शिक्षा विभाग और प्रारंभिक शिक्षा विभाग में उत्कृष्ट खिलाड़ी (ओएसपी) और पात्र खिलाड़ी (ईएसपी) की श्रेणियों के तहत ग्रुप सी की नौकरियों में 3 प्रतिशत आरक्षण दे रही है। जबकि, खिलाड़ियों को प्रदेश सरकार के अधीनस्थ सभी विभागों में नौकरी दिए जाने का प्रावधान किया जाना चाहिए।
कुमारी सैलजा ने कहा कि कितनी बड़ी विडंबना है कि ओलंपिक स्वर्ण पदक विजेता नीरज चोपड़ा के गांव खंडरा में आज तक खेल स्टेडियम का निर्माण नहीं गठबंधन सरकार नहीं करवा सकी है। नीरज के गांव में मुख्यमंत्री ने खेल स्टेडियम बनवाने की घोषणा की थी, जो सिरे ही नहीं चढ़ पाई। ऐसा ही हाल सोनीपत जिले के पदकवीर पहलवान रवि दहिया, हॉकी खिलाड़ी सुमित व जेवलिन थ्रोअर सुमित आंतिल के गांव का है। पूर्व केंद्रीय मंत्री ने कहा कि मुख्यमंत्री ने वाहवाही लूटने के लिए इन खिलाड़ियों के सम्मान में आयोजित कार्यक्रमों में इनके गांवों में खेल स्टेडियम बनाने की घोषणा की थी, लेकिन सवा दो साल से अधिक समय बीतने के बावजूद आज तक एक ईट भी इनके गांवों में नहीं लग सकी है। जबकि, संबंधित गांवों की पंचायत खेल विभाग को जरूरी जमीन भी सौंप चुकी हैं। इससे पता चलता है कि खेल व खिलाड़ियों को लेकर प्रदेश सरकार की कथनी और करनी में कितना अंतर है।
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:-The State Alliance Government in the state isn’t serious about sports and Player’s:- Kumari Selja
:-The Players morale has declined Due to the wrong policies of the state government:-Kumari Selja
:-The reservations Abolishing for Players in jobs under HCS and HPS is undemocratic:-Kumari Selja
:-The State Players aren’t getting representation in jobs of first and second categories:-Kumari Selja
:-There’s a difference between the government’s words and actions regarding sports and Players:- Kumari Selja
:-The Alliance Government is humiliating the state’s Player’s at every step:-Kumari Selja
Chandigarh, 11th December
The General Secretary of the All India Congress Committee, member of the Congress Working Committee, and former Union Minister, Kumari Selja said that the BJP-JJP Alliance government isn’t concerned about Players, neglecting the promotion of sports. As a result, players are not receiving appropriate reservations in Class 1 and 2 jobs. The construction of sports stadiums in the villages of medal-winning players, despite the Chief Minister’s announcement, hasn’t materialized even after years. This has cast doubts on the preparation of new players. In a statement released to the Media
Kumari Selja said that the alliance government of striking the biggest blow to athletes by eliminating reservations they received in government jobs. Furthermore, after facing significant opposition, the government announced 10% reservation for athletes in fourth-category jobs. This implies that instead of honoring athletes who bring fame to the state and country, the government wants them to perform menial tasks in government offices. She said that the alliance government, through HPSC, abolished reservations for athletes in DSP and HCS recruitments. Despite the provision of jobs to Player’s in all departments under the state government, this step should be taken.
Kumari Selja said that even till now, the village of Olympic gold medalist Neeraj Chopra hasn’t seen the construction of a sports stadium by the alliance government. Similar is the case for the villages of wrestler Ravi Dahiya from Sonepat district, hockey player Sumit, and javelin thrower Sumit Antil. Selja criticized the Chief Minister for making promises of constructing sports stadiums in these Players’ villages during programs organized to honor them but failing to lay even a single brick in their villages despite more than one and a half years passing. Despite the necessary land being handed over to the Sports Department of respective villages, it is evident that there’s a vast difference between the government’s promises and actions concerning sports and players. Selja said that the government’s intention seems to erase the existence of sports and player’s from the state, given the way BJP government policies are affecting Players morale. Due to the oppressive policies of the BJP government, every section of the country and the state is distressed, especially the people of Haryana, awaiting the elections. Essentially, the public mood in the state has turned against the BJP-JJP Alliance Government, and in the upcoming elections, the public will work to remove BJP from power.