उत्तर प्रदेश के अयोध्या (Ayodhya) में राम जन्मभूमि पर बने मंदिर के लोकार्पण के बाद होने वाले पहले दीपोत्सव पर एक तरफ नया वर्ल्ड रिकॉर्ड बनाने की तैयारी है. वहीं, अयोध्या से दूर बैठे रामलला के भक्तों को भी इस दीपोत्सव में शामिल होने का मौका मिलेगा.
अयोध्या विकास प्राधिकरण ने ‘एक दीया प्रभु श्रीराम के नाम’ योजना तैयार की है, जिसके जरिए घर बैठे श्रद्धालु भी दीपोत्सव में दीया जला सकेंगे. लोग दीये की बुकिंग करने के लिए ऑनलाइन दान कर सकेंगे, उसके बाद प्रसाद उनके घर भेजा जाएगा.
ऑनलाइन कर सकेंगे दीपदान
रामलला की प्राण प्रतिष्ठा के बाद 30 अक्टूबर को होने वाले आठवें दीपोत्सव को भव्य बनाने में यूपी सरकार कोई कोर-कसर नहीं छोड़ना चाहती. इसके लिए जोरों से तैयारियां चल रही हैं. इस बीच यूपी सरकार ने दूर बैठे रामलला के भक्तों को इस आयोजन से जोड़ने की योजना बनायी है. इसके तहत अयोध्या विकास प्राधिकरण ‘एक दीया प्रभु श्रीराम के नाम’ की योजना शुरू कर रहा है. इसमें लोग अयोध्या से बाहर रहकर भी ऑनलाइन दीया जला सकते हैं. इसके लिए एक लिंक भी शेयर किया गया है. इस लिंक के जरिए दीपोत्सव के लिए दीये की बुकिंग की का सकती है. https://www.divyaayodhya.com/bookdiyaprashad लिंक पर अपने नाम दीये की बुकिंग करने के बाद घर तक प्रसाद भेजा जाएगा.
प्रसाद तैयार करने में महिलाओं को मिलेगा रोजगार
ऑनलाइन दीपदान की ये योजना पिछले साल शुरू की गयी थी लेकिन अनुमान है कि इस बार बहुत बड़ी तादाद में लोग इसके जरिए अयोध्या दीपोत्सव से जुड़ेंगे. इस प्रसाद को तैयार करने की जिम्मेदारी उत्तर प्रदेश ‘राज्य ग्रामीण आजीविका मिशन’ को दी गयी है. इससे आजीविका मिशन से जुड़े लोगों को रोजगार मिलेगा, जिसमें बड़ी संख्या महिलाओं की है. अयोध्या विकास प्राधिकरण के उपाध्यक्ष अश्वनी कुमार पांडेय ने बताया, ‘इस कार्यक्रम के द्वारा देश-विदेश में बैठे श्रद्धालु ऑनलाइन अपनी स्वेच्छानुसार राशि दान स्वरुप दे सकेंगे.’
भव्य दीपोत्सव के लिए समितियों का गठन
अयोध्या में होने वाले आठवें दीपोत्सव को अब तक का सबसे भव्य दीपोत्सव बनाने के लिए तैयारी तेज हो गयी है. सरयू के घाट पर मार्किंग का कम शुरू हो गया है. इस बार 25 लाख दीये जलाकर नया वर्ल्ड रिकॉर्ड बनाने की तैयारी है. इसके लिए घाट पर 28 लाख दिये बिछाए जाएंगे. दीपोत्सव के संचालन के लिए 22 समितियों का गठन किया गया है. समन्वय समिति का गठन किया गया है, जिसमें अवध विश्वविद्यालय की कुलपति के अलावा अन्य सदस्य शामिल हैं.
इसके अलावा कार्यक्रम को संभालने के लिए अनुशासन समिति, सुरक्षा समिति, सामग्री वितरण समिति, दीप गणना समिति, भोजन समिति, यातायात समिति, स्वच्छता समिति, फोटोग्राफी व मीडिया समिति, त्वरित कार्यवाही बल समिति, प्राथमिक चिकित्सा समिति, साजसज्जा/रंगोली समिति, पर्यवेक्षक समिति, अग्निशमन समिति, समग्र नियंत्रण एवं पर्यवेक्षण समिति, कार्यालय समिति, निविदा एवं क्रय समिति, वालंटियर एवं आईकार्ड समिति, इंस्टीटयूशनल कोआर्डिनेशन समिति, प्रशिक्षण समिति, सामग्री प्राप्ति/स्टोरेज/अवशेष समिति एवं घाट चिन्हांकन समिति बनाई गई है.